Brahma Kumaris are setting an example of women’s power and dignity

Ambikapur ( Chhattisgarh ): ENT specialist Dr. Shailendra Gupta, Ambikapur Jail Superintendent Mr. Rajendra Gayakwad, Social worker Mr. Anil Kumar Mishra and many more along with centre head BK Vidhya participated in the inauguration of the “Amrit Mahotsav” program organized by Brahma Kumaris Ambikapur.

Former councilor Gupta mentioned that Honorable Prime Minister Mr. Narendra Modi has always promoted women empowerment and women education for the growth of the nation.

Mr. Rajendra Gayakwad said that India has always been integral and monolithic and everyone has contributed for the nation’s development. The nation’s growth depends on mental capabilities and not on material resources. He cited an example of how he disciplines prisoners with his good behavior. Following a disciplined daily routine of one person encourages other to follow.

Dr. Shailendra Gupta appreciated Brahma Kumaris for setting an example of women’s power and dignity. One experiences bliss and spiritual power by interacting with the organisation. Women are capable and successful in operating the world; therefore they are sacred and honorable.

BK Vidhya mentioned that in the golden age India was very prosperous and was known as the world leader, where the people were full of divine qualities, the nature was in its purest form because people were soul conscious and self-disciplined.  With changing time people became body conscious, negative emotions and 5 vices ruled them. Spiritual knowledge can bring awareness of divine virtues among the people. “Self-transformation is the key for world transformation” is the slogan of the Supreme Soul. If we develop power to realize then the nation will be free from corruption and fear and there will be heaven on the earth.

BK Vidhya concluded the program by presenting a bouquet to the esteemed guests.

News in Hindi:

अम्बिकापुर-ः प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय नव विश्व भवन चोपड़ापारा अम्बिकापुर में 75 वें आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर अभियान के अर्न्तगत संभागीय स्तर पर उद्घाटन कार्यक्रम आयोजन किया गया। जिसमे शहर के विभिन्न वर्ग के लोग जैसे राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रम के प्रभारी अधिकारी इ.एन.टी. विशेषज्ञ डॉ. शैलेन्द्र गुप्ता जी, अम्बिकापुर जेल अधीक्षक राजेन्द्र गायकवाड़ जी, राजमोहिनी देवी कृषि महाविद्यालय के पूर्व अधिष्ठाता वी.के. सिंह जी, समाजिक कार्यकर्ता पूर्व सम्प्रेक्षण गृह अधीक्षिका वन्दना बहन, पूर्व पार्षद, अग्रसेन गौ सेवा सदन का अध्यक्ष, भारतीय रेड़ क्रास सोसायटी पूर्व चेयरमेन सरगुजा जिला एवं पूर्व व्यवस्थापक शिशु मन्दिर अम्बिकापुर कर्ताराम गुप्ता जी, समाजिक कार्यकर्ता अनिल कुमार मिश्रा जी, समाजिक कार्यकर्ता मंगल पाण्डे जी एवं  सरगुजा संभाग की सेवाकेन्द्र प्रभारी ब्रह्माकुमारी विद्या दीदी उपस्थित थे। तथा सरगुजा संभाग में साल भर चलने वाले कार्यक्रम का गणमान्य लोगों के कर कमलों द्वारा द्वीप प्रज्जवलित कर भव्य उद्घाटन किया गया।

75 वें आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर अभियान के संभागीय उद्घाटन पर पूर्व पार्षद, अग्रसेन गौ सेवा सदन का अध्यक्ष, भारतीय रेड़ क्रास सोसायटी पूर्व चेयरमेन सरगुजा जिला एवं पूर्व व्यवस्थापक शिशु मन्दिर अम्बिकापुर कर्ताराम गुप्ता जी माननीय श्री नरेंद्र मोदी जी का उदाहरण देते हुये कहा कि मोदी जी विशेष महिलाओं को आगे बढ़ानें, बेटियों, बहनों को शिक्षित होने पर जोर दे रहे हैं तो हम सभी को महिलाओं को आगे बढ़ाने में पूरा मदद करना चाहियें ताकि देश की 90 प्रतिशत घरों में कैद महिलाओं को उनका अधिकार मिल सके।

राजमोहिनी देवी कृषि महाविद्यालय के पूर्व अधिष्ठाता वी.के. सिंह जी ने कहा कि हमारा भारत देष गौरवशाली, पवित्र एवं महान देश हैं । जहाँ सम्पूर्ण देश सुखी और सम्पन्न था और आपसी प्रेम एवं भाईचारे की भावना से एक- दूसरे के साथ मिलकर रहते थे परन्तु धीरे- धीरे बदलाव होने के कारण अनेक प्रकार की बुराईयाँ हम सभी के अन्दर आ गया जिससे भारत में रहने वाले लोग स्वयं को दुःखी और अशांत महसूस करने लगे ऐसी परतंत्रता से मुक्त होने के लिये दूसरों की बुराईयों को न देख सबसे मित्रता का व्यवहार करे तो जल्दी ही इस धरा को स्वर्ग बनाने में सफल होगें।

अम्बिकापुर जेल अधीक्षक राजेन्द्र गायकवाड़ जी ने कहा कि भारत देष के महान कर्णाधारों का एक ही सोच है कि भारत अभिन्न था, अखण्ड था और इसके विकास में एक की नहीं बल्कि सबका महत्वपूर्ण भूमिका हैं। देश का विकास मानसिक रूप से होगा भौतिक संसाधनों से नहीं हो सकता हैं। आगे उन्होंने जेल में रहने वाले कैदियों के परिवर्तन जीवन का प्रैक्टिकल उदाहरण देते हुये कहा कि मैं कभी उन्हें डाटता व मारता नहीं हूँ सिर्फ नियम पूर्वक दिनचर्या बनाता हूँ क्योंकि मेरा मानना हैं कि यदि एक व्यक्ति नियम प्रमाण, अनुशासन पूर्ण जीवन व्यतीत करता हैं तो उसे देखकर सभी के जीवन में स्वतः ही परिवर्तन आ जाता हैं।

राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रम के प्रभारी अधिकारी इ.एन.टी. विशेषज्ञ डॉ. शैलेन्द्र गुप्ता जी नारी शक्ति के गरिमा की महिमा करते हुये कहा ब्रह्माकुमारी संस्था इसका बहुत बड़ा मिसाल हैं क्योंकि इसके सानिघ्य में जाने मात्र से ही आनन्द और अलौकिक शक्ति की अनुभूति होती हैं। इस प्रकार पूरे संसार का संचालन करने में नारी शक्ति सफल एवं सक्षम हैं। इसलिये नारी सदैव सम्मानीय और पूज्यनीय हैं।  और आगे उन्होंने कहा कि वर्तमान समय हर व्यक्ति नशे का शिकार होता जा रहा है। ऐसा नशा करो जो सदा दुःख, दर्द से मुक्त कर दे परन्तु बुरी चीजों का जो लोग नशा करते है वो सोचते हैं कि बुरी चीजों का नशा करने से आनन्द की प्राप्ति होती है परन्तु इससे सदाकाल का आनन्द नहीं प्राप्त होता क्षणिक आनन्द ही प्राप्त होता है। इस नशे का सीधा प्रभाव हमारे शरीर  एवं आंत पर पड़ता है जिससे कैंसर जैसा रोग भी हो जाता हैं। जिससे बहुत कठिनाईयों का सामना करना पड़ता हैं इसलिये इस नशे को अपना संस्कृति ना मान कर बल्कि इसे धीरे- धीरे इसे संस्कृति से निकाले और सच्चे आनन्द की अनुभूति करें।

सरगुजा संभाग की सेवाकेन्द्र प्रभारी ब्रह्माकुमारी विद्या दीदी आध्यात्मिक शक्तियों की क्रांति का अलख जन – जन में जगाने का संकल्प करते हुये कहा कि हमारा भारत देश सोने की चिड़िया कहलाता था, विश्व गुरू कहलाता था, स्वर्णिम भारत कहलाता था और स्वतंत्र देश भी कहलाता था क्योंकि वहाँ रहने वाली आत्मायें दैवी गुणों से सम्पन्न, सतोप्रधान थी और प्रकृति भी सतोप्रधान था, उस दुनिया के महाराजा और महारानी के संकल्पों से दुनिया चलती थी क्योंकि उनका स्वयं पर सर्म्पूण कन्ट्रोल था। लेकिन समय परिवर्तन के साथ- साथ मनुष्य आत्माओं के अन्दर देहभान आने के कारण ही संकल्पों में नकारात्मकता आने लगा जिससे स्वतंत्र भारत, आजाद भारत पाँच विकारों रूपी बुराईयों के गुलाम बन गया।  और फिर धीरे- धीरे यह सम्पूर्ण भारत अंग्रजो के भी गुलाम बनता गया उनके गुलामी से हमारे देश के महान शहीदों के अनेकानेक बलिदानों से भारत देश को आजाद तो कर दिया लेकिन इस स्वतंत्र, आजाद भारत के मनुष्य आत्मायें खुद को बुराईयों से आजाद नहीं कर पाये। आगे उन्होंने कहा कि आध्यात्मिकता के ज्ञान द्वारा मनुष्य आत्मायें अपने अन्दर के दिव्य गुणों को जागृत कर सकेंगे एवं दिव्यगुणों के जागृति से ही हम विकारों के चंगुल से स्वयं को आजाद कर पायेंगे, स्वयं को मुक्त कर सकते हैं और जब हम स्वयं इन विकारों से मुक्त हो जायेंगे तो सारे संसार को परिवर्तन कर सकते। क्योंकि परमात्मा पिता का नारा ही हैं स्व परिवर्तन से विश्व परिवर्तन इस बात को उदाहरण देकर स्पष्ट करते हुये कहा कि यदि हमारे जीवन में महसूसता की शक्ति आ जाये तो भारत देश भ्रष्टाचार, भयमुक्त, बन और स्वर्ग बन जायेगा।

समाजिक कार्यकर्ता पूर्व सम्प्रेक्षण गृह अधीक्षिका वन्दना बहन ने कहा कि ये 75 वाँ आजादी महोत्सव महिलाओं को सशक्त बनाने के लिये एक बहुत बड़ा तोफा है क्योंकि महिलायें  सशक्त हो जाये तो हमारे देश का विकास सर्वाेच्च शिखर पर पहुँच जायेगा। ऐसे पुनीत कार्य करने के लिये हम सब ब्रह्माकुमारी संस्था के साथ मिलकर कार्य करेंगे तभी निश्चित रूप से भारत स्वर्णिम भारत बनेगा।

 

इस शुभ अवसर पर समाज के विभिन्न वर्ग में प्रभावशाली कार्य करने वाले इ.एन.टी. विशेषज्ञ डॉ. शैलेन्द्र गुप्ता जी, अम्बिकापुर जेल अधीक्षक राजेन्द्र गायकवाड़ जी, वी.के. सिंह जी, वन्दना बहन, कर्ताराम गुप्ता जी को शॉल, मोमोन्टो और पुष्पों के द्वारा सरगुजा संभाग की सेवाकेन्द्र प्रभारी ब्रह्माकुमारी विद्या दीदी ने सम्मान किया।

कार्यक्रम में डॉ लता गोयल, पार्वती शिक्षा महाविद्यालय मदनपुर सिलफिली संस्थापक एवं प्रबन्धक श्री अशोक नाथ तिवारी एवं श्री राकेश तिवारी तथा शहर के गणमान्य लोग उपस्थित थे। कार्यक्रम के पश्चात् सभी लोगों ने ब्रह्माभोजन स्वीकार किया।

 

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