All India SPARC Wing Conference of Research Workers in Gyansarovar

Mount Abu ( Rajasthan ): The Rajyoga Education and Research Foundation of the Brahma Kumaris, in collaboration with its SpARC – Spiritual Applications and Research Center, held an All-India Conference of research workers in the Harmony Hall of Gyansarovar in Mount Abu. The topic of this conference was “Co-creating Harmony with Research and Spirituality.” Hundreds of research workers from all over the country took part in this program.

Dr. G. Satheesh Reddy, Chairman, D.R.D.O., addressed the gathering as Chief Guest on this occasion. He said that the atmosphere of this place seems highly conducive for meditation. He pushed for the need of spirituality for people in the defense manufacturing business, as it will give them the necessary control and efficiency. Science and Spirituality should work in unison for the betterment of humanity. Both are different sides of the same coin.

BK Dr. Nirmala, Director of Gyansarovar, talked about the role of spirituality in establishing goodwill in society. Spirituality shows us by experience that we are all children of the same Supreme Soul. This realization alone can establish universal brotherhood amongst men.

Rajyogini BK Ambika, Chairperson of the SpARC Wing, welcomed everyone to this conference. She said that the spiritual path alone is the answer to many ills plaguing our society today.

Dr. Anil Jain, Yoga Guru and Health Consultant, Advisor to Commerce Ministry of the GOI, gave the inaugural address. He said that he felt blissful at this place. We must all strive for self-improvement in our fast-paced lives of today.

Dr. Sushil Chandra, Scientist D.R.D.O, apprised everyone of the activities of the SpARC Wing. It encourages research in the field of spirituality.

Mr. S. Ingersol, Scientist from  I.S.R.O, also shared his views. He said that he realized after coming here that whoever works for the welfare of humanity is spiritual. The practice of yoga and spiritual principles will definitely improve our society.

Dr. W. Selvamurthy, Scientist, also expressed his good wishes. He said that spirituality has immense power. The Brahma Kumaris Organization is working to establish universal peace and goodwill.

Mr. V. Shashank Shekhar, Joint Secretary, Department of Administrative Reforms and Public Grievances GOI, and Dr. Prasanna Kumar Patasani, former MP and Founding Member of BJD, also conveyed their good wishes for this initiative.

BK Saroj guided everyone in practicing Rajyoga Meditation. BK Shashi gave the vote of thanks.

News in Hindi:

विज्ञान और आध्यात्म के समन्वय से जगत का कल्याण होगा : डी आर डी ओ अध्यक्ष डॉक्टर जी सतीश
 
आबू पर्वत , ज्ञान सरोवर: आज ज्ञान सरोवर स्थित हार्मनी हॉल में ब्रह्माकुमारीज एवं आर ई आर एफ की भगिनी संस्था, ” स्पार्क ” के संयुक्त तत्वावधान में एक अखिल भारतीय शोध कर्मियों के सम्मेलन का आयोजन किया गया। इस सम्मेलन का विषय था ‘ शोध और आध्यात्म के आधार पर सद्भाव का सह निर्माण ‘ इस सम्मेलन में देश के सैकड़ों  शोध कर्मियों  ने भाग लिया। दीप प्रज्वलन के द्वारा इस सम्मेलन का उद्घाटन सम्पन्न हुआ । 
डॉक्टर जी सतीश रेड्डी , डी आर डी ओ के चेयरमैन ने आज के मुख्य अतिथि की रूप में अपने उदगार प्रकट किये।  आपने कहा कि संभवतः ध्यान के लिए यह स्थान सर्वाधिक उपयुक्त है।  यहाँ की हरियाली सुकून दे रही है।  हम हथियारों का निर्माण करते हैं।    मैं मानता हूँ की इस प्रकार के व्यक्ति को आध्यात्मिक होना चाहिए ताकि वह शांति से हथियारों का निर्माण कर सके।  श्री कृष्णा – योगेश्वर – ने महाभारत रचा। हमें भी योग के आधार पर समाधान तलाश करना चाहिए।  विज्ञान और  आध्यात्म दोनों ही जन कल्याण के लिए शोध करते हैं।  दोनों एक ही सिक्के के दो पहलू हैं।  सत्य की खोज में भी दोनों संलग्नन हैं।
ज्ञान सरोवर की निदेशक राजयोगिनी डॉक्टर निर्मला दीदी ने अपना आशीर्वचन इन शब्दों में दिया।  आध्यात्मिकता हमें काफी मदद देती है समाज में सद्भाव की स्थापना करने में।  यह हमें बताती है की हम सभी एक पिता की ही संतान हैं।  ऐसी सोच से हमें प्रेम से मिल जुल कर रह पाते हैं।  सम,संसार में लोग भाई चारा नहीं बना पाते।  आपसी घृणा के कारण लड़ाई होती रहती है।  क्योंकि उनको कभी यह महससू नहीं करवाया गया की वे एक ही परिवार  हैं।  क्योंकि उनको आध्यात्मिकता की शिक्षा नहीं दे गयी।  शिव बाबा द्वारा सिखाया गया यह ज्ञान सभी को आत्मिक भाव में टिकाकर उनके अंदर भाईचारा भरता है और आपसी प्रेम भाव विकसित होता रहता है।  यही मूल शिक्षा संसार को दी जानी चाहिए।
 
स्पार्क की अध्यक्षा राजयोगिनी अम्बिका बहन ने पधारे हुए शोध कर्मियों का स्वागत किया।  आपने कहा की आज का यह समय समस्याओं से घिरा हुआ है।  समस्याओं का समाधान सभी तलाश कर रहे हैं। मगर  इसका समाधान आध्यात्मिकता में छिपा हुआ है।  हमारी चेतना में छिपा है।  आज लोग पत्तों को पानी देने में व्यस्त हो गए हैं।  बीज को उन लोगों ने भुला दिया है। दुनिया जानती है कि उनका रियल स्वरूप आत्मिक है।  मगर इस बात के एप्लीकेशन में वे  विफल हो जाते हैं।जब वे आत्मा की बात करते हैं तो ऐसा लगता है जैसे की वे किसी तीसरे व्यक्ति की बात कर रहे हैं।  खुद की नहीं।  यही है समस्या की जड़।  
डॉक्टर अनिल जैन , योग गुरु और स्वास्थ्य सलाहकार , भारत सरकार के वाणिज्य मंत्रालय के सलाहकार मंडल में सदस्य , अनेक पुरुष्कारों  से सम्मानित , ने आज का  उद्घाटन भाषण प्रस्तुत किया।  आपने कहा कि यहां काफी आनंद की अनुभूति हो रही है।  आज की इस भागती दौड़ती  जिंदगी में सुधार  लाना है और अपने स्वास्थय को बचा कर रखना है। 
 
डॉक्टर सुशील  चंद्र डी आर डी ओ में वैज्ञानिक ने  स्पार्क के बारे में बताया।  आपने बताया की इस विंग की मूल भावना है स्व परवर्तन से विश्व का परिवर्तन।  एक संस्मरण की चर्चा करते हुए आपने बताया  की हम शोध कार्य में आध्यात्मिकता और आध्यात्मिकता में शोध का समावेश कर रहे हैं।  सालाना आधार  पर शोध कार्यों की समीक्षा भी करते हैं और उनका लेखांकन भी।  कम से कम हमने २०० शोध कार्य किये  हैं और उनका रिकॉर्ड उपलब्ध है।
 
 एस इंगरसोल , इसरो के वैज्ञानिक ने भी अपनी शुभ कामनाएं दीं।  आपने कहा कि यहां आकर मैं  काफी प्रसन्न हूँ।  मेरा संशय आज समाप्त हुआ है।  मेरी द्विविधा थी की मैं आध्यात्मिक हूँ या नहीं ? मगर आज समझा की जो जन कल्याण का काम करता है वह भी आध्यात्मिक है।  वैज्ञानिक होने के नाते मैं कल्याण कारी कार्यों में संलग्न हूँ। अपनी आध्यात्मिकता को समझ कर ख़ुशी मिल रही है।  
ब्रह्माकुमारियाँ आज की तारीख में समाज में सद्भावना स्थापित करने में बड़ी भूमिका का निर्वाहन कर रही हैं।  आध्यात्मिकता और योग के प्रशिक्षण से समाज में बदलाव आएगा। 
 
डॉक्टर डब्लू सेल्वमूर्ति , वैज्ञानिक , ने भी शुभ कामनाएं दीं।  ब्रह्माकुमारियाँ एक ऐसा संसार बना रही हैं जहां सद्भावन बनी  रहती है।  इनके प्रयत्नों से परिवारों में सद्भावन होती है। वही सद्भावना समाज में और प्रदेश में तथा देश में फैलने वाली है।  शांति का इनका उद्घोष इसी लक्ष्य को लेकर प्रकट होता रहता है. 
इस संस्था ने आध्यात्मिकता की मदद से दिल की बीमारी को , ब्लॉकेज को कम करने में काफी मदद की है।  
आध्यात्मिकता में असीम शक्तियां हैं।  
 
भाई भी  शशांक शेखर , भा प्र से , संयुक्त  सचिव , प्रशासनिक और लोक शिकायत प्रभाग , भारत सरकार ने भी अपनी शुभ कामनाएं दीं। 
डॉक्टर प्रसन्ना कुमार , पूर्व सांसद और पूर्व मंत्री ने भी अपनी शुभ कामनाएं दीं।  
 
ब्रह्माकुमारी सरोज बहन ने योगाभ्यास करवाया।  सतना की बी के शशि बहन ने धयवाद ज्ञापन किया।  राजयोगिनी गीता बहन ने मंच का संचालन किया। 

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